00 कुख्यात बदमाश रंजन गर्ग के फार्म हाउस में बुलडोजर चलने के बाद और भी कई अपराधी हैं निशाने पर
बिलासपुर। छत्तीसगढ़ की बिलासपुर पुलिस ने क्षेत्र में अपराधियों और कुख्यात बदमाशों पर नकेल कसने के लिए एक बड़ा अभियान शुरू किया है। पुलिस कप्तान ने स्पष्ट किया है कि रंजन गर्ग समेत अन्य कुख्यात अपराधियों की सूची तैयार की गई है, जिनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। यह अभियान बीएनएसएस की धारा 107 के तहत चलाया जा रहा है, जिसके तहत शांति व्यवस्था भंग करने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
गुंडा बदमाशों की लिस्ट तैयार
बिलासपुर में पुलिस ने 20 से अधिक कुख्यात अपराधियों की सूची बनाई है। इनमें रंजन गर्ग समेत अन्य नाम प्रमुख हैं। ये अपराधी अवैध कब्जा, संपत्ति विवाद और अन्य गंभीर मामलों में शामिल हैं। पुलिस ने इनकी संपत्ति और अवैध धंधों की भी जांच शुरू कर दी है। प्रशासन का कहना है कि जिन अपराधियों ने सरकारी भूमि पर अवैध कब्जा कर रखा है, उनके खिलाफ युद्धस्तर पर कार्रवाई होगी।
संपत्ति जब्ती की प्रक्रिया शुरू
पुलिस ने इन अपराधियों के चंगुल से अवैध तरीके से कब्जाई गई संपत्तियों को जब्त करने की तैयारी कर ली है। प्रशासन के सहयोग से सरकारी भूमि से अवैध कब्जे हटाने का अभियान तेज किया जाएगा। इसके तहत, अपराधियों की चल-अचल संपत्तियों की सूची बनाकर उन्हें जब्त किया जाएगा।
नशीली दवाओं की सौदागर के खिलाफ हुई ऐतिहासिक कार्रवाई
छत्तीसगढ़ की बिलासपुर पुलिस ने नशा तस्करी के खिलाफ एक बड़े अभियान के तहत न केवल आरोपियों को गिरफ्तार किया, बल्कि उनकी अवैध रूप से अर्जित संपत्तियों को भी जब्त करने की ऐतिहासिक कार्रवाई की। यह कार्रवाई एनडीपीएस (NDPS) एक्ट, 1985 के तहत की गई, जो नशे के अवैध कारोबार और उससे अर्जित संपत्ति को जब्त करने की अनुमति देता है।
मुख्य तस्कर गिन्नी जांगडे उर्फ गोदावरी की 35 लाख की थी संपत्ति
विशेष जांच के दौरान यह पाया गया कि मिनीबस्ती, बिलासपुर की मुख्य तस्कर सरगना गिन्नी जांगडे उर्फ गोदावरी ने अवैध मादक पदार्थों के कारोबार से करोड़ों की संपत्ति बनाई। वित्तीय जांच में खुलासा हुआ कि गिन्नी ने नशे की कमाई का उपयोग कर:
श्यामा रेजिडेंसी में फ्लैट (₹12 लाख) खरीदा।
सकरी हाफा रोड पर 1785 वर्गफुट भूमि (₹20 लाख) खरीदी।
आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल लाइफ इंश्योरेंस की ₹2 लाख की पॉलिसी ली।
इन संपत्तियों को एनडीपीएस एक्ट के अध्याय VA धारा 68F के तहत अवैध घोषित करते हुए जब्त कर लिया गया।
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क्या है सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन
सुप्रीम कोर्ट ने संपत्ति जब्ती के मामलों में यह स्पष्ट किया है:
- अवैध तरीके से अर्जित संपत्ति की जब्ती के लिए ठोस प्रमाण जरूरी हैं।
- जब्ती की प्रक्रिया में संबंधित व्यक्ति को अपना पक्ष रखने का मौका दिया जाएगा।
- कार्रवाई के दौरान किसी निर्दोष को परेशान नहीं किया जाएगा।
पुलिस के नए कानून की व्यवस्था
पुलिस विभाग ने अपराधियों की संपत्ति जब्ती को लेकर निम्नलिखित कदम उठाए हैं:
- अपराधियों की संपत्तियों का डिजिटल रिकॉर्ड तैयार करना।
- स्थानीय प्रशासन और राजस्व विभाग की मदद से अवैध कब्जे चिन्हित करना।
- जब्ती के दौरान आम नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करना।